खबर सच है संवाददाता
हल्द्वानी। मालिकाना अधिकार समेत आठ सूत्रीय मांगों पर अनिश्चितकालीन धरना बागजाला में 35 वें दिन भी जारी रहा।सर्वप्रथम “भूमि अधिकार सम्मेलन” की वृहद सफलता के लिए किसान महासभा की ओरसे बागजाला और विभिन्न वन भूमि नजूल भूमि के गांवों की जनता को हार्दिक धन्यवाद ज्ञापित किया गया।
किसान महासभा बागजाला की कार्यकारिणी सदस्य हेमा देवी ने कह, किसानमहासभा के संगठित होने की प्रेरणा और लाल झंडे को लेकर लड़ने के हौसले ने ही हमको ताकत और हिम्मत दी है।किसान महासभा ने तमाम वन भूमि पर बसे हुए लोगों को जिस तरह से मालिकाना अधिकार के लिए एकसाथ लाने का काम किया है उससे उम्मीद जगी है कि वन भूमि पर बसे सभी लोगों को मालिकाना अधिकार मिलने का मार्ग प्रशस्त होगा।
किसान महासभा के सचिव वेद प्रकाश ने कहा कि, यदि सरकार ने शीघ्रता से हमारी मांगों पर गंभीरता से विचार कर मालिकाना अधिकार देने की घोषणा नहीं की, तो भूमि अधिकार सम्मेलन की घोषणा के अनुरूप हम मुख्यमंत्री के सचिव कुमाऊं कमिश्नर कार्यालय का घेराव करने को बाध्य होंगे।
अध्यक्षता करते हुए डा उर्मिला रैस्वाल ने कहा कि, हमारी एकता ने प्रशासन को बुधपार्क हल्द्वानी में हमारा मांग पत्र आकर लेने को बाध्य किया, आगे भी इसी एकता और संघर्ष के बल पर जीत हासिल होगी।
इसके अतिरिक्त धरने को किरन प्रजापति, गरीना, साविन मलिक, हेमा आर्य, अंगद सिंह कार्की, प्रेम सिंह नयाल, बची सिंह कपकोटी, मो नबी, सुलेमान मलिक आदि ने भी संबोधित किया। 35 वें दिन के धरने में किसान महासभा के प्रदेश अध्यक्ष आनन्द सिंह नेगी, डा उर्मिला रैस्वाल, वेद प्रकाश, विमला देवी, डा कैलाश पाण्डेय, अंगद सिंह कार्की, प्रेम सिंह नयाल, दीवान सिंह बर्गली, हरक सिंह बिष्ट, गोपाल सिंह बिष्ट, हरीश चन्द्र, किरन प्रजापति, एम एस मलिक, साविन, जरीना, दौलत सिंह कुंजवाल, सोहन लाल, चन्दन सिंह मटियाली, भोला सिंह, दीप चन्द्र पाण्डे, हनीफ, महेश राम, मीना भट्ट, पार्वती, नसीम अहमद, रेशमा, पुष्पा, नसरीन मन्नू देवी, तुलसी, ऋषि मटियाली, चन्दन, दिनेश चन्द्र, रेखा रानी, शोभा, नसरीन, सुनीता देवी, मो नबी, कुलदीप सिंह, बैजन्ती देवी आदि शामिल रहे।