खबर सच है संवाददाता
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता हरीश रावत ने आगामी उत्तराखंड विधानसभा चुनाव से पहले कांग्रेस संगठन पर गंभीर सवाल खड़े किए हैं। उन्होंने कहा है कि चुनाव रूपी समुद्र को तैरना है, सहयोग के लिए संगठन का ढांचा अधिकांश स्थानों पर सहयोग का हाथ आगे बढ़ाने के बजाय या तो मुंह फेर करके खड़ा हो जा रहा है या नकारात्मक भूमिका निभा रहा है। रावत के इन आरोपों पर हाल ही में कांग्रेस छोड़ने वाले पंजाब के पूर्व सीएम कैप्टन अमरिंदर सिंह ने तंज़ किया है।
पंजाब लोक कांग्रेस पार्टी के अध्यक्ष कैप्टन अमरिंदर सिंह ने ट्वीट कर कहा है, “जो बोएंगे वही काटेंगे! आपको भविष्य की कोशिशों के लिए शुभकामनाएं।” बता दें कि कैप्टन को जब कांग्रेस पार्टी ने पंजाब के सीएम पद से हटाया था, तब उस वक्त हरीश रावत पंजाब के प्रभारी थे। उस दौरान कैप्टन और हरीश रावत के बीच आरोप प्रत्यारोप का दौर भी चला था।
बताते चलें कि हरीश रावत ने बुधवार को कांग्रेस पर आरोप लगाते हुए एक के बाद एक कई ट्वीट किए। उन्होंने लिखा, “है न अजीब सी बात, चुनाव रूपी समुद्र को तैरना है, सहयोग के लिए संगठन का ढांचा अधिकांश स्थानों पर सहयोग का हाथ आगे बढ़ाने के बजाय या तो मुंह फेर करके खड़ा हो जा रहा है या नकारात्मक भूमिका निभा रहा है। जिस समुद्र में तैरना है।” अपने अगले ट्वीट में उन्होंने लिखा, “सत्ता ने वहां कई मगरमच्छ छोड़ रखे हैं। जिनके आदेश पर तैरना है, उनके नुमाइंदे मेरे हाथ-पांव बांध रहे हैं। मन में बहुत बार विचार आ रहा है कि हरीश रावत अब बहुत हो गया, बहुत तैर लिये, अब विश्राम का समय है!” एक अन्य ट्वीट में रावत ने लिखा, “फिर चुपके से मन के एक कोने से आवाज उठ रही है “न दैन्यं न पलायनम्” बड़ी उपापोह की स्थिति में हूं, नया वर्ष शायद रास्ता दिखा दे। मुझे विश्वास है कि भगवान केदारनाथ जी इस स्थिति में मेरा मार्गदर्शन करेंगे।”
रावत के इस रुख को लेकर कांग्रेस की ओर से कोई आधिकारिक प्रतिक्रिया नहीं मिल पाई। उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्री रावत उत्तराखंड में कांग्रेस के सबसे चेहरे माने जाते हैं और मौजूदा समय में वह राज्य में पार्टी की चुनाव अभियान समिति के प्रमुख हैं।